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पिथौरा : सचिव द्वारा पंचायत में नहीं कि गई रिकार्ड संधारण, शिकायत के दो साल बाद भी नहीं हूई सचिव के खिलाफ कार्यवाही

 


रूपानंद सोई  94242 - 43631 

पिथौरा -  स्थानांतरित हुए सचिवो द्वारा अपना प्रभार में नये सचिवो को पंचायत का सम्पूर्ण दस्तावेज नहीं सौंपना ये कोई नई बात नहीं  है । जिससे साफ तौर पर जाहिर हो रहा है कि एक तरफ शासन के नियमों की अनदेखी की जा रही है तो दूसरी ओर पंचायत सचिवो के द्वारा अपनी पुरानी पंचायतो के लेखा जोखा कभी पूरा न  कर अपने पदीय कर्तव्यों के निर्वहन में घोर लापरवाही बरतना आम बात है।

     मिली जानकारी अनूसार जनपद पंचायत पिथौरा से जारी आदेश क्रमांक 2859/स्था./ज.प./ दिनांक 23/09/2021 के तहत ग्राम पंचायत देवसराल के तात्कालिन सचिव सुभाष साहू (वर्तमान सचिव ग्राम पंचायत रिखादादर) के द्वारा नये सचिव रेखराज साहू को दिनांक 29/10/2021 को प्रभार दिया गया जिसमें बैंंक पास बूक को मिलाकर कूल 48 अभिलेख प्रदान किया गया है । जिसमें से 22 पंजी बिना संधारण किये कोरा रजिस्टर प्रभार में दी गई है, जिसकी शिकायत कलेक्टर महासमुंद के समक्ष दिनांक 22/11/2022 को कि गई है । उक्त मामले में आज दो साल बितने के बाद भी किसी प्रकार की कार्यवाही नहीं हूई । 

संधारण किये बिना प्रभार में दी गई पंजी इस प्रकार है - 

1. लेजर पंजी 

2. रसीद बुक 

3. संदाय प्रमाणक  

4. प्रतिभूति बंधपत्र 

5. मास की रसीद 

6. अनुपयोगी स्टाक पंजी 

7. अनुदान पंजी 

8. जुर्माना रजिस्टर 

9. निवेश पंजी 

10. प्रस्ताव रजिस्टर 

11. स्थावर संपति पंजी 

12. रसीद तथा संदाय लेखे 

13. भाटक रेंट पंजी 

14. रसीद पुस्तकों का स्टाक 

15. विवाह पंजी 

16. कांजी हाउस पंजी 

17. निरिक्षण पंजी 

18. चेक जारी पंजी 

19. पलायन पंजी 

20. आवक पंजी 

21. जावक पंजी 

22. मांग वसूली पंजी 

प्रभार सूची के अनुसार उपरोक्त सभी पंजी संधारित किये बिना कोरा रजिस्टर नये सचिव को तत्कालिन सचिव सुभाष साहू के द्वारा प्रदान किया गया है । 

सबसे चौकाने वाली बात यह है कि उक्त पंचायत से ग्राम सभा उपस्थिति पंजी गायब है । उक्त पंचायत में हो रहे ग्राम सभाओं में ग्रामवासीयों की भागीदारी की कोई रिकार्ड ही नहीं है । 

ग्राम पंचायत देवसराल को विभिन्न विकास कार्यों के नाम से अबतक करोडों रूपये शासन से प्राप्त हुए है उस राशि का पंचायत में कोई लेखा-जोखा संधारित न रखना सभी कायदे कानून ताक में रखकर जिम्मेदारों द्वारा कार्य करना , न उन्हें जांच की चिंता है और न अधिकारियों का डर है ।

इसमें से सभी अति महत्वपूर्ण पंजी हैं फिर भी पंचायत द्वारा संधारित न करना पंचायत एवं विभाग के काम - काजों की स्तर का आसानी से अंदाजा लगाया जा सकता है । आपको बता दें आवक-जावक पंजी निरंक है इसका मतलब उक्त पंचायत में किसी भी प्रकार के दस्तावेजों का अदान-प्रदान नहीं किया गया है ।

इसी तरह निरिक्षण पंजी निरंक है तो ग्राम पंचायत देवसराल में किये गये विकास कार्यों या शासन द्वारा संचालित अनेकों योजनाओं का किसी भी अधिकारी कर्मचारी के द्वारा निरिक्षण नहीं किया गया। पंचायत के अधिकारियों द्वारा अपने कार्यालय में बैठे-बैठे उक्त पंचायत का निरिक्षण एवं सत्यापन कर दिया गया है ।

किन-किन फर्म एवं व्यक्तियों को कौन-कौन से कार्य एवं सामाग्री हेतु राशि भुगतान किया गया है की जानकारी व्हाउचर पंजी में संधारित किया जाता है लेकिन उक्त प्रभार सूची में ये पंजी भी संधारित नहीं है । 

पिथौरा विकास खण्ड में ये कोई एक पंचायत का मामला नहीं है इसी तरह कई पंचायतें हैं अधिकारी ये सब जानकार भी मुकदर्शक बनकर बैठे रहते हैं क्योंकि इन्हीं पंचायतो से इनकी जेबें भरती रहती है । 

उक्त पूरे मामले का दिनांक 22/11/2022 कलेक्टर महासमुंद के समक्ष रूपानंद सोई के द्वारा शिकायत कि गई थी । अधिकारियों के द्वारा उक्त मामले को ठंडे बस्ते में डाल दी गई है, शिकायत के दो साल बितने के बाद भी सचिव सुभाष साहू के विरूद्ध कोई कार्यवाही नहीं हूई है । 

उप संचालक, पंचायत , जिला महासमुंद के द्वारा बताया गया कि उक्त मामले में सचिव सुभाष साहू के विरूद्ध कार्यवाही प्रक्रियाधीन है । 

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