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रायपुर के अस्पताल में अधिकारी एवं कर्मचारियों ने किया कई करोड़ का गबन

 



Raipur AIIMS : डाक्टरों द्वारा नोटिस पीरिएड में नौकरी छोड़ने पर नियमानुसार दी गई राशि AIIMS के बैंक खाते में जमा नहीं कि गई । फाइनेंस एंड अकाउंट विभाग ने जमा किए गए डिमांड ड्राफ्ट को लेनदेन कर लौटाया और दबा ली भारी भरकम  राशि । AIIMS की तरफ से गठित जांच टीम ने शुरुआती जांच में ही 30 लाख रुपये की गड़बड़ी पकड़ी है अब टीम पांच वर्षों के दस्तावेजों की जांच करेगी ।



रायपुर : राजधानी के अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान AIIMS के फाइनेंस एंड अकाउंट विभाग में लगभग पांच करोड़ रुपये के गबन का मामला प्रकाश में आया है। AIIMS की तरफ से गठित तीन सदस्यीय टीम ने शुरुआती जांच में ही 30 लाख रुपये की गड़बड़ी पकड़ ली है। टीम पांच वर्षों के दस्तावेजों की जांच करेगी।

मामला यह है कि AIIMS में नौकरी छोड़ने से पहले डाक्टरों को नियमानुसार तीन महीने पहले आवेदन के माध्यम से प्रबंधन को इसकी सूचना देनी पड़ती है। जो डाक्टर इस अवधि को पूरा किए बिना यदि बीच में नौकरी छोड़ता है, तो उसे नोटिस पीरिएड के बचे दिनों में बनने वाले वेतन की राशि का भुगतान करना पड़ता है।

इस तरह किया गया है करोड़ों का गबन
बहूत से डाक्टरों ने नोटिस पीरिएड में AIIMS में नौकरी छोड़ी है। ऐसे में यहां के फाइनेंस एंड अकाउंट विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों ने दो प्रकार से खेल किया है। पहला, डाक्टरों से राशि लेकर नई रसीद के बदले तीन-चार वर्ष पुरानी रसीद दे दी और उस राशि को अस्पताल के बैंक खाते में जमा ही नहीं किया गया। दूसरा, जिन डाक्टरों ने डिमांड ड्राफ्ट जमा किया उन्हें कुछ समय बाद लेनदेन करके डिमांड ड्राफ्ट लौटा दिया और इस तरह कई करोड रूपये का गबन कर लिया गया।


AIIMS के निदेशक डा. अजय सिंह ने बताया कि इस मामले की पूरी जानकारी ले रहा हूं। जांच में जो भी दोषी पाए जाएंगे, उन पर नियमानुसार कार्रवाई कि जाएगी।

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